लाड़ली लक्ष्मी योजना के लिए पात्रता एवं शर्तें
लाड़ली लक्ष्मी योजना के अंतर्गत सामान्य प्रकरण की स्थिति में 1 जनवरी 2006 अथवा उसके पश्चात् जन्मी बालिका, 1 अप्रैल 2008 के पश्चात् जन्मी प्रथम बालिका, बालिका स्थानीय आंगनवाड़ी केन्द्र में पंजीकृत हो। माता-पिता मध्यप्रदेश के मूलनिवासी हो। माता-पिता आयकर दाता न हो। माता-पिता जिनकी दो या दो से कम संतान हो, द्वितीय संतान के जन्म के पश्चात परिवार नियोजन अपनाया गया हो। प्रथम प्रसव से 1 अप्रैल 2008 के बाद जन्मी बालिका को बिना परिवार नियोजन के लाभ दिया जायेगा। द्वितीय प्रसव से जन्मी बालिका को लाभ दिये जाने हेतु माता-पिता को परिवार नियोजन अपनाया जाना आवश्यक है। जिस परिवार में अधिकतम 2 संतानें हैं तथा माता अथवा पिता की मृत्यु हो गई है उस बच्ची के जन्म के 5 वर्ष होने तक पंजीकरण कराया जा सकता है। परन्तु इस प्रकार के प्रकरण में यदि महिला व पुरूष की दूसरी शादी होती है तथा पूर्व से ही 2 बच्चे हैं तो दूसरी शादी से उत्पन्न पुत्री को योजना का लाभ नहीं मिलेगा। प्रथम प्रसूति के समय एक साथ 3 बच्चियां होने पर भी तीनों बच्चियों को लाड़ली लक्ष्मी योजना का लाभ मिलेगा। जेल में बंद महिला कैदियों की जन्मी पात्र बालिकाओं को भी योजनांतर्गत लाभांवित किया जायेगा।
विशेष प्रकरण की स्थिति में
बलात्कार पीड़ित बालिका या महिला से जन्मी सन्तान बालिका को योजना का लाभ दिया जायेगा। स्वास्थ्य संबंधी कारणों से जिन परिवारों द्वारा परिवार नियोजन नहीं अपनाया गया है, उन प्रकरणों में 1 वर्ष के स्थान पर 2 तक प्रकरण स्वीकृत करने के अधिकार कलेक्टर को दिए गए हैं। विलम्ब से प्राप्त आवेदनों को सूक्ष्म परीक्षण करते हुए, विशेष प्रकरण के तहत् स्वीकृति, अस्वीकृति जिला कलेक्टर प्रदान करेंगे। अनाथालय, संरक्षणगृह के अधीक्षक द्वारा अनाथालय में प्रवेश के 1 वर्ष के अंदर तथा बालिका की आयु 5 वर्ष होने से पूर्व या दत्तक लेने वाले माता-पिता द्वारा दत्तक लेने के 1 वर्ष के अंदर आवेदन करना होगा।
योजना के लाभ
योजनांतर्गत बालिका के नाम से शासन की ओर से रूपये 1 लाख 18 हजार रूपए का आश्वासन प्रमाण पत्र जारी किया जाता है। योजनांतर्गत पंजीकृत बालिका को कक्षा 6वी में प्रवेश पर 2 हजार रूपए, कक्षा 9वीं में प्रवेश पर 4 हजार रूपए, कक्षा 11वीं में प्रवेश पर रूपये 6 हजार रूपए एवं कक्षा 12वीं में प्रवेश पर 6 हजार रूपए छात्रवृत्ति प्रदान की जाती है। लाड़ली बालिकाओं को कक्षा 12वीं के पश्चात् स्नातक अथवा व्यवसायिक पाठ्यक्रम में प्रवेश लेने पर 25 हजार रूपए की प्रोत्साहन राशि दो समान किश्तों में पाठ्यक्रम के प्रथम एवं अंतिम वर्ष में दी जाएगी। लाड़ली बालिकाओं की उच्च शिक्षा हेतु शिक्षण शुल्क शासन द्वारा वहन किया जाएगा। बालिका की आयु 21 वर्ष पूर्ण होने पर, कक्षा 12वी की परीक्षा में सम्मिलित होने पर एवं बालिका का विवाह, शासन द्वारा निर्धारित आयु पूर्ण करने के उपरांत होने पर राशि 1 लाख रूपए का अंतिम भुगतान किये जाने का प्रावधान है।